राज्यपाल ने राजकीय संप्रेषण गृह (किशोर), मोहान रोड लखनऊ का किया भ्रमण
किशोरों के सर्वांगीण विकास हेतु शिक्षा, खेल, रोजगारपरक कौशल प्रशिक्षण एवं स्वास्थ्य सुविधाओं को सुदृढ़ करने के निर्देश
उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने आज राजकीय संप्रेषण गृह (किशोर), मोहान रोड, लखनऊ का भ्रमण किया। भ्रमण के दौरान उन्होंने संस्थान में निवासरत किशोरों हेतु उपलब्ध आवास, भोजन, शिक्षा, स्वास्थ्य, कौशल प्रशिक्षण एवं पुनर्वास संबंधी व्यवस्थाओं का निरीक्षण किया तथा आवश्यक सुधार के निर्देश दिए।
राज्यपाल जी ने किशोर गृह का विस्तृत निरीक्षण किया और संस्थान में रह रहे किशोरों से संवाद कर उनकी दिनचर्या, पढ़ाई, रुचियों एवं भविष्य की योजनाओं के बारे में जानकारी प्राप्त की। उन्होंने बच्चों की पूर्व शैक्षिक स्थिति, वर्तमान में पढ़ाए जा रहे विषयों, शिक्षकों की संख्या एवं बच्चों की कुल संख्या के संबंध में जानकारी ली। साथ ही शिक्षकों से शिक्षण व्यवस्था एवं पाठ्यक्रम के बारे में विस्तार से चर्चा की।
राज्यपाल जी ने निर्देश दिए कि किशोरों के सर्वांगीण विकास हेतु गुणवत्तापूर्ण शिक्षा, कौशल प्रशिक्षण, मानसिक परामर्श एवं स्वास्थ्य सुविधाओं को और अधिक सुदृढ़ किया जाए। उन्होंने आर्ट एवं कॉमर्स विषयों की ऑनलाइन पढ़ाई तथा विज्ञान विषय के लिए नियमित प्रैक्टिकल कराए जाने पर विशेष बल दिया। इसके लिए शकुंतला मिश्रा विश्वविद्यालय से शिक्षकों को आमंत्रित कर विशेष विषयों की पढ़ाई कराने का सुझाव भी दिया।
राज्यपाल जी ने बताया कि राजकीय बाल गृह (बालिका), सिंधीखेड़ा पारा में कंप्यूटर, स्मार्ट क्लास सहित सभी आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध कराई गई हैं। उन्होंने निर्देश दिए कि कक्षा 9, 10, 11 एवं 12 के बच्चों को रोजगारपरक कंप्यूटर कोर्स सिखाए जाएं। साथ ही संस्थान में संचालित इलेक्ट्रिशियन, पेंटिंग आदि स्किल डेवलपमेंट प्रशिक्षण के अंतर्गत बच्चों को उपयोगी एवं मान्य प्रमाण पत्र भी उपलब्ध कराए जाएं, जिससे भविष्य में उन्हें रोजगार प्राप्त करने में सहायता मिल सके।
उन्होंने कहा कि संस्थान में कंप्यूटर शिक्षा, सिलाई, संगीत, हिंदी, अंग्रेजी एवं विज्ञान सहित सभी विषयों के लिए स्कूल की तरह पूर्णकालिक समय-सारणी तैयार की जाए। विज्ञान विषय के लिए विशेष रूप से प्रैक्टिकल हेतु अलग समय-सारणी बनाकर नियमित अभ्यास कराया जाए। राज्यपाल जी ने यह भी बताया कि शीघ्र ही संस्थान में स्मार्ट क्लास का संचालन किया जाएगा।
राज्यपाल जी ने बच्चों की खेल गतिविधियों में भी रुचि ली। उन्होंने निर्देश दिए कि बच्चों के लिए 100 मीटर, 200 मीटर एवं 400 मीटर दौड़ सहित इनडोर एवं आउटडोर खेलों का नियमित अभ्यास कराया जाए तथा प्रतियोगिताओं के लिए उन्हें योजनाबद्ध ढंग से तैयार किया जाए। उन्होंने बच्चों के शारीरिक एवं मानसिक विकास हेतु नियमित शारीरिक गतिविधियों पर विशेष जोर दिया।
राज्यपाल जी ने कहा कि संप्रेषण गृहों का उद्देश्य केवल संरक्षण नहीं, बल्कि किशोरों के व्यक्तित्व निर्माण एवं सकारात्मक सोच का विकास करना है। उन्होंने संस्थान में स्वच्छता, अनुशासन एवं संवेदनशील व्यवहार बनाए रखने पर विशेष बल दिया।
उन्होंने निर्देश दिए कि सभी बच्चों को समय-सारिणी के अनुसार प्रतिदिन पौष्टिक एवं संतुलित भोजन उपलब्ध कराया जाए तथा समय-समय पर स्वास्थ्य जांच अनिवार्य रूप से कराई जाए। राज्यपाल जी ने बच्चों को आपस में मिलजुल कर रहने, अनुशासन एवं आत्म-सुधार की भावना विकसित करने के लिए प्रेरित किया।
राज्यपाल जी ने बच्चों को राजभवन भ्रमण हेतु आमंत्रित किया और बताया कि राजभवन के उच्च प्राथमिक विद्यालय में बच्चों को बैंड, स्केटिंग एवं बांसुरी जैसी गतिविधियों का प्रशिक्षण दिया जाता है। उन्होंने राजभवन के माध्यम से सिलाई मशीन उपलब्ध कराने के निर्देश दिए तथा कहा कि बच्चों की आवश्यकता अनुसार हर संभव सहयोग प्रदान किया जाएगा।
इस अवसर पर विशेष कार्याधिकारी (अपर मुख्य सचिव स्तर) राज्यपाल डॉ. सुधीर महादेव बोबडे, जिला प्रशासन के अधिकारी, किशोर गृह में कार्यरत अधिकारी एवं कर्मचारी तथा बच्चे उपस्थित रहे।










