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*मुख्यमंत्री विष्णु देव साय बृहन्महाराष्ट्र मंडल के 73वें वार्षिक अधिवेशन में हुए शामिल:मराठी समाज से जुड़े प्रबुद्ध जनों का किया सम्मान*
Cultural Relations:रायपुर (BNE)/ मुख्यमंत्री विष्णु देव साय आज राजधानी रायपुर के चौबे कॉलोनी में आयोजित तीन दिवसीय बृहन्महाराष्ट्र मंडल के 73वें वार्षिक अधिवेशन में शामिल हुए। उन्होंने इस महती अधिवेशन के सफल आयोजन के लिए 10 लाख रुपए की आर्थिक सहायता दिए जाने की घोषणा की। इस अवसर पर मुख्यमंत्री श्री साय ने विशेष उपलब्धि हासिल करने वाले मराठी समाज से जुड़े प्रबुद्ध जनों को स्मृति चिन्ह भेंटकर सम्मानित किया और समाज के लिए उनके योगदान की प्रशंसा की।Cultural Relations
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मुख्यमंत्री श्री साय ने मराठी समाज के पुरोधाओं को नमन करते हुए अपने संबोधन की शुरुआत की। उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र और छत्तीसगढ़ के बीच अटूट रिश्ता है और दोनों के सांस्कृतिक संबंधों में यह बात झलकती है। पड़ोसी राज्य होने के कारण यह जुड़ाव अधिक सहज भी है। श्री साय ने सीपी बरार के दौर का जिक्र करते हुए कहा की उस दौर में दोनों क्षेत्र की राजधानी नागपुर हुआ करती थी और जनप्रतिनिधि मनोनीत होते थे। मेरे दादा स्वर्गीय बुद्धनाथ साय मनोनीत विधायक थे और महाराष्ट्र से सहज जुड़ाव मेरी स्मृतियों में है। श्री साय ने अखिल भारतीय वनवासी कल्याण आश्रम के संस्थापक बालासाहेब देशपांडे सहित मराठी समाज के मूर्धन्यों का पुण्य स्मरण किया। Cultural Relations
उन्होंने कहा कि देशपांडे ने जो संकल्प लिया था, आजीवन उसी रास्ते पर चले। आदिवासियों के जीवन स्तर को ऊंचा उठाने में उन्होंने अपना जीवन समर्पित कर दिया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि त्रयोदशी तिथि के अनुसार आज ही के दिन पिछले साल भगवान राममला अपने मंदिर में विराजे थे। उन्होंने सभी को इस पावन दिन की शुभकामनाएं दी। उन्होंने कहा कि इस पवित्र दिन आपके अधिवेशन की शुरुआत हुई है, निश्चित रूप से यह अपने उद्देश्यों में सफल होगा। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने मराठा मंडल के वार्षिक अधिवेशन की स्मारिका का विमोचन भी किया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि महाराष्ट्र मंडल के सेवाभावी लोगों का शिक्षा सहित जनसेवा के अन्य क्षेत्रों में विशेष योगदान है। मुख्यमंत्री ने कहा कि साहित्य, कला, समाज कल्याण, स्वास्थ्य, पर्यावरण संरक्षण सहित अलग-अलग क्षेत्र में अपनी भागीदारी सुनिश्चित करने वाले प्रतिभावान लोगों को इस मंच से सम्मानित कर हम खुद को भी गौरवान्वित महसूस कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र और छत्तीसगढ़ की संस्कृति का मेल, भाईचारा और एक-दूसरे के प्रति सम्मान का भाव हमें एकजुट रहकर समाज की बेहतरी के लिए कार्य करने की प्रेरणा देता है। सनातन धर्म की रक्षा में छत्रपति शिवाजी महाराज के योगदान को कभी भुलाया नहीं जा सकता है। हमारी सरकार सभी वर्ग के विकास के लिए लगातार कार्य कर रही है। शिक्षा, स्वास्थ्य के साथ-साथ नई औद्योगिक नीति से सबका साथ-सबका विकास-सबका विश्वास और सबका प्रयास से हम विकसित राज्य बनने की ओर अग्रसर हैं। छत्तीसगढ़ी संस्कृति के साथ ही पड़ोसी राज्यों की परंपराएं और संस्कृति को जानने के लिए इस तरह के आयोजन होते रहना चाहिए।Cultural Relations
इस अवसर पर विधायक राजेश मूणत, विधायक सुनील सोनी, विधायक मोतीलाल साहू, बृहन्महाराष्ट्र मंडल के अध्यक्ष मिलिंद महाजन, रायपुर महाराष्ट्र मंडल के अध्यक्ष अजय काले, डॉ. रामप्रताप सिंह और डॉ. सुनील किरवई सहित समाज से जुड़े लोग बड़ी संख्या में मौजूद रहे।Cultural Relations
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