



बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी और वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप फाइनल पर दांव
1. सिडनी में पिंक टेस्ट: भारत के लिए निर्णायक मुकाबला
भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच 3 जनवरी से सिडनी क्रिकेट ग्राउंड में पिंक टेस्ट खेला जाएगा। यह भारत के लिए करो या मरो का मुकाबला होगा, क्योंकि सीरीज में 2-1 से पिछड़ने के बाद हार या ड्रॉ का मतलब ट्रॉफी से हाथ धोना होगा।
2. क्या है पिंक टेस्ट?
पिंक टेस्ट की शुरुआत 2009 में हुई थी। यह मैच ब्रेस्ट कैंसर के प्रति जागरूकता बढ़ाने और फंड जुटाने के लिए खेला जाता है। इस टेस्ट को पूर्व ऑस्ट्रेलियाई तेज गेंदबाज ग्लेन मैक्ग्रा की दिवंगत पत्नी जेन मैक्ग्रा की याद में आयोजित किया जाता है।
3. पिंक रंग से सराबोर होगा सिडनी क्रिकेट ग्राउंड
टेस्ट के दौरान पूरा स्टेडियम गुलाबी रंग से जगमगाता है। खिलाड़ियों की जर्सी, टोपी और स्टाफ की वर्दी गुलाबी रंग में होती है। यहां तक कि दर्शकों से भी पिंक रंग पहनने का आग्रह किया जाता है।
4. चैरिटी के लिए खेला जाता है पिंक टेस्ट
पिंक टेस्ट से होने वाली कमाई मैक्ग्रा फाउंडेशन को दी जाती है। यह फाउंडेशन ब्रेस्ट कैंसर के रोगियों और उनके परिवारों की मदद करता है।
5. भारत के लिए डबल चुनौती
अगर भारत यह टेस्ट हारता है या ड्रॉ कराता है, तो न केवल बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी गंवाएगा, बल्कि वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप फाइनल से भी बाहर हो जाएगा। दूसरी ओर, ऑस्ट्रेलिया के पास 10 साल बाद ट्रॉफी जीतने और चैंपियनशिप फाइनल में जगह बनाने का मौका होगा।
पिंक टेस्ट न केवल क्रिकेट का एक यादगार इवेंट है, बल्कि यह ब्रेस्ट कैंसर के प्रति जागरूकता का प्रतीक भी है। भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच यह मुकाबला ऐतिहासिक होने वाला है, जिसमें खेल और भावनाओं का अद्भुत संगम देखने को मिलेगा।