संभल जैसी घटना और भी हो सकती है- रामगोविंद चौधरी
मनोज श्रीवास्तव/लखनऊ। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय सचिव और उत्तर प्रदेश के पूर्व नेता प्रतिपक्ष रामगोविंद चौधरी ने प्रशासनिक अफसरों के संगठनों से अपील किया है कि वह कार्यपालिका की मर्यादा बचाने के लिए उन अफसरों को अपनी जमात से बाहर करें जो संभल की खूनी घटना को अंजाम दिए हैं। जो सम्प्रदायिक ध्रुवीकरण और उसको धार देने के लिए संभल में नियोजित तरीके से पहले दुर्भाग्यपूर्ण स्थिति पैदा किए, फिर गोली वर्षा करवाकर पांच लोगों की जान ले लिए, जो सांसदों को भी संभल के पीड़ितों से नहीं मिलने दे रहे हैं। उन्होंने कहा है कि भारतीय लोकतंत्र में कार्यपालिका का एक सम्मानित स्थान रहा है। संभल की घटना में वहाँ तैनात अफसरों का आचरण उक्त स्थान और सम्मान को गहरा चोट पहुँचाने वाला है। उन्होंने कहा कि डबल इंजन की सरकार सभी मोर्चे फेल हो चुकी है। महंगाई जानलेवा स्थिति में पहुँच चुकी है। बेरोजगारी चरम पर है। रुपया अपने सबसे बुरे दौर में हैं डबल इंजन की सरकार को समझ में नहीं आ रहा है कि वह क्या करे। उन्होंने कहा है कि इस बदहाल स्थिति की तरफ से लोगों का ध्यान हटाने के लिए मुख्यमंत्री बटेंगे – कटेंगे का खेल खेल रहे हैं और उनके कुछ चहेते अफसर साम्प्रदायिक ध्रुवीकरण के लिए संभल जैसी दुर्भाग्य पूर्ण घटना को अंजाम दे रहे हैं।
राम गोविन्द चौधरी ने संभल की घटना को आखिरी घटना नहीं समझे। डबल इंजन की सरकार सूबे में साम्प्रदायिक ध्रुवीकरण के लिए इस तरह की घटनाएँ और जगहों पर भी करेगी और करायेगी। इससे सावधान रहने की जरुरत है। उन्होंने कहा है कि जब से बीजेपी सरकार आई है देश और प्रदेश में मुसलमानों सहित अन्य अल्पसंख्यकों, पिछड़ों, दलितों और उनके फासिस्ट विचाराधारा से इक्तेफाक नहीं रखने वाले अगड़ों को प्रताड़ित कर रही हैं। मुकदमे और बुलडोजर का सहारा लेकर डरा रही हैं जो अत्यंत ही चिंतनीय और निंदनीय हैं बीजेपी समझ रही है कि यह प्रदेश केवल उनका और उनके द्वारा पोषित गुंडों का ही है। सरकार की इस समझ के खिलाफ प्रदेश के युवा पीढ़ी,छात्र, किसान व्यापारी अधिवक्ता सहित सभी वर्गों को जो जहां हैं, वहीं इस सरकारी साजिश के खिलाफ आवाज उठायें यह देश अब दूसरी संपूर्ण क्रांति मांग रहा है। अन्यथा आने वाली पीढ़ी वर्तमान को माफ नहीं करेगी।