फिल्म स्टार गोविंदा शिवसेना में शामिल हो गए। राजनीति में फिल्म स्टारों की एंट्री कोई नई नहीं है। कई पार्टियां फिल्म स्टारों पर दांव खेलती हैं। बीजेपी से लेकर विपक्ष की पार्टियां फिल्म स्टारों को टिकट देती हैं। आखिर इसकी वजह क्या है? आइए समझते हैं। नई दिल्लीः फिल्म इंडस्ट्री से जुड़े लोगों का राजनीतिक पार्टियों से जुड़ने और चुनावी मैदान में उतरने की शुरुआत दशकों पहले ही हो गई थी और पिछले कुछ चुनावों से यह ट्रेंड बढ़ता ही दिखा है। लोकसभा चुनाव 2024 की बात करें तो बीजेपी ने कई फिल्म कलाकारों को मैदान में उतारा है। तृणमूल कांग्रेस ने भी फिल्म स्टारों को टिकट दिया है, वहीं कांग्रेस से भी संभावना है कि कुछ सेलिब्रिटी मैदान में होंगे। जाने-माने राजनीतिक विश्लेषक जयंत घोषाल कहते हैं कि राजनीति के मैदान में जो फिल्म से आते हैं, वे लोग सेलिब्रिटी होते हैं। सेलिब्रिटी होने के कारण उनका टीआरपी काफी हाई होती है और ये लोग पहले से ही पॉपुलर होते हैं। फिल्मी हस्तियों पर दांव खेलने का एक सबसे बड़ा कारण है कि ज्यादातर फिल्म स्टारों की छवि जनता में खराब नहीं है, जिससे उनकी स्वीकार्यता जनता में ज्यादा है। बीजेपी ने दिए हैं खूब टिकट बीजेपी ने इस बार भी जानी-मानी अभिनेत्री हेमा मालिनी को फिर से मथुरा से टिकट दी है। दूरदर्शन के रामायण सीरियल में घर-घर में पहचान बनाने वाले और भगवान श्रीराम का किरदार निभाने वाले अरुण गोविल को मेरठ से टिकट दिया है। बॉलिवुड अभिनेत्री कंगना रनौत को हिमाचल प्रदेश के मंडी लोकसभा क्षेत्र से उम्मीदवार बनाया गया है। भोजपुरी फिल्म इंडस्ट्री में सिंगर और एक्टर के रूप में नाम कमा चुके मनोज तिवारी को बीजेपी ने उत्तर-पूर्वी दिल्ली से उम्मीदवार बनाया है, वह यहां से मौजूदा सांसद भी हैं। वहीं बॉलीवुड और भोजपुरी फिल्मों में काम कर चुके रवि किशन को उत्तर प्रदेश की गोरखपुर सीट से एक बार फिर से टिकट दिया गया है, वह गोरखपुर से ही मौजूदा सांसद हैं। सांसद और भोजपुरी फिल्मों के अभिनेता दिनेश लाल यादव उर्फ निरहुआ को आजमगढ़ से उम्मीदवार बनाया गया है। दिनेश लाल 2022 में इस सीट पर उपचुनाव जीते थे। बीजेपी ने पश्चिम बंगाल की हुगली सीट से मौजूदा सांसद लॉकेट चटर्जी को एक बार फिर उम्मीदवार बनाया है, वह पूर्व में बंगाली फिल्मों में काम कर चुकी हैं। बीजेपी ने मशहूर गायक और दक्षिण भारतीय फिल्मों में काम करने वाले सुरेश गोपी को केरल के त्रिशूर से टिकट दिया है। तब 'रावण' और 'सीता' लड़े थे चुनाव लेकिन 'राम' रह गए थे बेटिकट, अब खत्म हुआ अरुण गोविल का 'राजनीतिक वनवास' अन्य पार्टियां भी देती है टिकट तृणमूल कांग्रेस ने शत्रुघ्न सिन्हा को आसनसोल सीट से टिकट दिया है। शत्रुघ्न सिन्हा ने अपने करियर की शुरुआत साल 1992 में दिल्ली उपचुनाव से की थी, हालांकि उस समय उन्हें राजेश खन्ना के हाथों हार का सामना करना पड़ा था। यहां से हारने के बाद शत्रुघ्न सिन्हा ने बिहार से लोकसभा चुनाव लड़ा और जीत दर्ज की, इसके बाद शत्रुघ्न सिन्हा कई बार सांसद रह चुके हैं। वह उन चंद सितारों में से हैं जिन्होंने राजनीति में काफी सफलता पाई है। टीएमसी ने इस बार अभिनेता से नेता बनीं और हुगली लोकसभा क्षेत्र से रचना बनर्जी को मैदान में उतारा है। बंगाली फिल्म इंडस्ट्री की जानी-मानी एक्ट्रेस रचना बनर्जी बीजेपी की सांसद लॉकेट चटर्जी के खिलाफ चुनाव लड़ेंगी। एक्ट्रेस रचना बनर्जी की ओर से होस्ट किए जा रहे शो दीदी नंबर-1 बहुत लोकप्रिय रहा है। रचना बनर्जी तमिल, तेलुगु, बंगाली और उड़िया फिल्मों में भी काम कर चुकी हैं। ममता बनर्जी ने मिमी चक्रवर्ती और नुसरत जहां जैसे मौजूदा सांसदों को टिकट नहीं दिया है। बांग्ला फिल्मों के सुपरस्टार दीपक अधिकारी (देव) को घाटल लोकसभा सीट से टिकट दिया गया है। वहीं कांग्रेस से भी पूर्व सांसद राज बब्बर को टिकट दिए जाने की चर्चाएं चल रही हैं।